शानदार रहा “एक शाम शहीदों नाम” आयोजन, शहीदों के परिजनों को किया सम्मानित

शहीदों को दिए राष्ट्रपति पुरस्कार, कार्यक्रम में जवानों की शहादत के प्रति उदगार और सुरांजलि अश्विन शाह पुलगांव (वर्धा) : यहां सेना के सेन्ट्रल आर्डनेंस (गोला-बारूद) डिपो, पुलगांव के शहीद जवानों के सम्मान में गुरुवार, 31 मई को “एक शाम, शहीदों के नाम…” कार्यक्रम का आयोजन अचानक आई आंधी और बारिश के बावजूद शानदार ढंग से संपन्न हुआ. दो वर्ष पूर्व 31 मई के ही दिन डिपो के गोला-बारूद भंडार में आग लग जाने से डिपो के 19 जवानों ने आग से जूझते हुए अपनी जान गंवाई थी और अनेक जवान जख्मी हुए थे. कार्यक्रम में उनकी शहादत को और विदर्भ के अन्य देश की सीमा पर शहीद हुए एवं नक्सली मुठभेड़ में शहीद हुए जवानों की शहादत को अपने उदगारों और सुरांजलि के माध्यम से सम्मानित किया गया. इस अवसर पर देश सीमा पार आतंकवादियों के ठिकानों और पाकिस्तान के नापाक इरादों को धवस्त करने के लिए ऐतिहासिक एवं गौरवपूर्ण "सर्जिकल स्ट्राइक" का नेतृत्व करने वाले पूर्व लेफ्टिनेंट जनरल राजेंद्र निम्भोरकर ने अपने मार्मिक और जोशीले भाषण में शहीदों को श्रद्धांजलि दी. उन्होंने कहा कि दो वर्ष पूर्व की उस 31मई की उस रात को पुलगांवासियों के लिए भुला पाना असंभव है. क्योंकि इसी दिन हमने अपने 19 जाबांज़ जवानों को खोया था. आज हम अपने उन अफसरों, जवान और कर्मचारियों के प्रति हार्दिक श्रन्धांजलि अर्पित करने और उनकी उस जांबाजी को याद कर रहे हैं, जब 31 मई की रात आयुध भण्डार के एक गोदाम में लगी भीषण आग बुझाते समय हुए बमों के विस्फोट में अपने प्राणों की आहुति देकर पुलगांववासियों और आस-पास परिसर के सैकड़ों लोगों की जान बचाई थी. जनरल निम्भोरकर ने कहा कि इस भीषण कांड में किसी ने अपना पुत्र, किसी ने पति, किसी ने पिता तो किसी ने अपना भाई खोया है. ऐसे सभी जांबाज शहीदों को मैं सैल्यूट करता हूं, जिन्होंने अपने प्राणों का बलिदान दिया. सेना में भर्ती होने के साथ ही भारत माता के लिए प्राण न्यौच्छावर करने की भावना प्रत्येक सैनिक के मन होती है. हम सैनिक मातृभूमि प्रति अपना फर्ज इसी प्रकार अपनी कुर्बानी देकर निभाने का जज्बा रखते हैं. केंद्रीय मंत्री और पालक मंत्री की अनुपस्थिति से निराशा कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में केंद्रीय रक्षा राज्यमंत्री डॉ. सुभाष भामरे के साथ प्रमुख अतिथि के रूप में राज्य के वित्त मंत्री एवं जिले के पालक मंत्री सुधीर मुनगंटीवार कार्यक्रम में उपस्थित रहने वाले थे. लेकिन ऐन वक्त पर उनके कार्यक्रम रद्द हो जाने से यहां आयोजकों सहित सामान्य लोगों को भारी निराशा हुई. देश के शहीदों प्रति केंद्रीय मंत्री और पालक मंत्री के उपेक्षात्मक रवैये की सभी आलोचना करते नजर आए. राज्य शासन का प्रतिनिधित्व कार्यक्रम में राज्यमंत्री मदन येरावार ने किया. प्रमुख अतिथि प्रदेश के राज्यमंत्री मदन येरावार ने कहा कि शहीदों की शहादत हमें सदैव भारत माता के प्रति समर्पित रहने की प्रेरणा देती है, जिन लोगों ने अपने परिवार के सदस्य को खोए हैं, हम उनके दुःख में सहभागी हैं औऱ उन्हें राज्य शासन की ओर से हर संभव मदद उन परिवारों के लिए हमेशा उपलब्ध रहेगा. उन्होंने...

वित्त वर्ष के पहले दो महीने अप्रैल और मई में वेकोलि ने बनाया रिकार्ड

लक्ष्य से अधिक उत्पादन के साथ ही बिजली-घरों को भरपूर भेजा कोयला - पिछले अप्रैल और मई में हुई 25% से अधिक की वृद्धि का दावा - दो महीनों में 6.69 मि.टन लक्ष्य के मुकाबले 6.9 मि.टन किया उत्पादन - दो महीने में बिजली घरों को 1,641 रेक कोयला भेजा - कोयले की कमी नहीं होने दी है बिजली घरों को - 1 लाख टन से अधिक दैनिक उत्पादन, 1.5 लाख टन से अधिक डिस्पैच - पाइप कन्वेयर बेल्ट डिस्पैच सिस्टम से महाजेनको को मिलेगा कोयला - खापरखेड़ा, कोराडी बिजली घरों को मिलेगा खदानों का अधिक पानी नागपुर : कोल इंडिया लिमिटेड की अनुषंगी कंपनी वेस्टर्न कोलफील्ड्स लिमिटेड (वेकोलि) ने बताया है कि वर्तमान वित्तीय वर्ष के प्रथम दो महीने में कोयला-उत्पादन एवं प्रेषण में रिकार्ड स्थापित किया है. इससे बिजली घरों को कोयला-प्रेषण में अब तक की सर्वाधिक वृद्धि दर्ज़ की गई है. साथ दावा किया है कि कोयला-प्रेषण में इस वृद्धि के आलोक में, वेकोलि से सम्बद्ध विद्युत ताप गृहों की कोयले की मांग पूरी करने के प्रति कम्पनी पूर्णतः तैयार है. दो महीनों में 6.69 मि.टन लक्ष्य के मुकाबले 6.9 मि.टन किया उत्पादन वेकोलि द्वारा जारी प्रेस विज्ञप्ति के अनुसार अप्रैल और मई 2018 के दौरान 25 प्रतिशत से अधिक की वृद्धि दर्ज़ करते हुए कम्पनी ने 6.69 मिलियन टन लक्ष्य के मुकाबले 6.9 मिलियन टन उत्पादन किया है. इसी तरह, वेकोलि ने गत दो महीनों में 9 मिलियन टन से अधिक कोयला-प्रेषण कर, पिछले वर्ष की इसी अवधि की तुलना में 23.4 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज़ की है. महाजेनको और म.प्र. पॉवर जेनरेशन कम्पनी लि. हैं बड़े ग्राहक उल्लेखनीय है कि वेकोलि से सम्बद्ध (लिंक्ड) बड़े विद्युत् उपभोक्ता महाजेनको और मध्यप्रदेश पॉवर जेनरेशन कम्पनी लिमिटेड हैं. वर्ष के दौरान, वेकोलि अपने उत्पादन का करीब 70 प्रतिशत कोयला महाजेनको को और 10 प्रतिशत मध्यप्रदेश पॉवर जेनरेशन कम्पनी लिमिटेड को आपूर्ति करती है. इनके अलावा वेकोलि एन.टी.पी.सी., अदानी, रिलायंस, जी.एम.आर., बजाज सहित गुजरात एवं कर्नाटक की प्रदेश विद्युत् कम्पनियों के साथ कई अन्य उद्योगों को भी कोयले की आपूर्ति करती है. दो महीने में बिजली घरों को 1,641 रेक कोयला भेजा वेकोलि ने अप्रैल और मई, 2018 में विद्युत् क्षेत्र को 1641 रेक कोयला प्रेषित कर एक रिकार्ड बनाया है, जो पिछले वर्ष की इस अवधि में (1253 रेक) की तुलना में 31 प्रतिशत अधिक है. इस अवधि के दौरान, कम्पनी ने कुल 1698 रेक कोयला प्रेषित किया जो गत वर्ष की तुलना में 23 प्रतिशत ज्यादा है. पिछले वर्ष यह संख्या 1380 थी. कोयला-प्रेषण में यह सफलता विशेषकर मध्य रेलवे, दक्षिण पूर्व मध्य रेलवे, दक्षिण मध्य रेलवे तथा वेकोलि द्वारा रेलवे साइडिंग स्तर पर लगातार की जा रही मोनिटरिंग के कारण सम्भव हो पाई है. कोयले की कमी नहीं होने दी है बिजली घरों को अपने दो बड़े उपभोक्ताओं; महाजेनको एवं मध्यप्रदेश पॉवर जेनरेशन कम्पनी लिमिटेड के साथ पूर्ण समन्वय स्थापित कर, निर्धारित व्यवस्था के अनरूप वेकोलि प्रतिदिन के आधार पर कोयले का प्रेषण कर रही है. इससे दोनों प्रदेश विद्युत् गृहों को सुगमता से कोयला-आपूर्ति हो रही है और इस अवधि में उन बिजली घरों को कोयले की कमी का सामना नहीं करना पड़ा है. 1...

कर्ज में डूबे किसान ने कर ली आत्महत्या

नहीं मिला कर्ज माफी का लाभ, चुका नहीं पाए थे सहकारी बैंक को 72 हजार ब्रजेश तिवारी कोंढाली (नागपुर) : एक किसान 62 वर्षीय नत्थू संपतराव देशमुख द्वारा गुरुवार को पूर्वाह्न 10 बजे के करीब पास के जंगल के एक पेड़ में फांसी लगा कर आत्महत्या कर लेने का मामला सामने आया. क्यों नहीं मिला कर्ज माफी का लाभ? काटोल तहसील के कोंढाली थाना अंतर्गत खापरी क्षेत्र के जुनापाणी गांव के निवासी देशमुख बुधवार की शान से ही घर से बिना कुछ बताए निकल गए थे. राज्य सरकार द्वारा छोटे किसानों के कर्ज माफ करने के कदम उठाने के बावजूद मृतक देशमुख को उसका लाभ नहीं मिल पाने की यह घटना आश्चर्यजनक है. उन्हें कर्ज माफी का लाभ क्यों नहीं मिला, यह प्रश्न यहां सभी के मन में कौंध रहा है. प्राप्त जानकारी के अनुसार क्षेत्र के अनेक किसान कर्ज माफी का लाभ पाने से अभी तक वंचित हैं. 72 हजार का कर्ज चुकाने में विफल रहने से थे परेशान साढ़े छह एकड़ खेत के मालिक नत्थू देशमुख पर जिला सहकारी बैंक की कोंढाली शाखा का 72 हजार रुपए का कर्ज भरना बाकी था. बकाया कर्ज, फसल चौपट हो जाने और वन प्राणियों द्वारा फसल बर्बाद कर देने से वह बहुत परेशान थे. कर्ज बकाया होने के कारण अगली फसल के लिए किसी अन्य राष्ट्र्रीयकृत बैंक से उन्हें कर्ज भी नहीं मिल रहा था. इसी परेशानी में जंगल की ओर जा कर वे अपने गले में अपने दुपट्टे से फंदा बना कर पेड़ से झूल गए. वन कक्ष क्रमांक-61 के एक पेड़ से लटकता शव बरामद वे बुधवार की शाम को ही बिना किसी को कुछ बताए वे घर से निकल गए थे. रात तक जब वे घर नहीं लौटे तो उनकी खोज शुरू हुई. दूसरे दिन सुबह 10 बजे खापरी के वन कक्ष क्रमांक-61 के एक पेड़ से लटकता उनका शव बरामद हुआ. खबर मिलते ही कोंढाली पुलिस वहां पहुंची और शव को अपने अधिकार में लेकर पंचनामा किया और ग्रामीण अस्पताल में शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया. अकस्मात मृत्यु का मामला दर्ज कर पुलिस घटना की जांच कर रही है.

नांदेड़ जा रहे सिख परिवार के 10 लोगों की सड़क दुर्घटना में मृत्यु, दो...

सभी मृतक पंजाब और दिल्ली के, कोसदानी घाट में तवेरा कार की ट्रक से सीधी टक्कर रवि लाखे/दिनेश चोरडिया यवतमाल : नागपुर- बोरी- तुलजापुर राष्ट्रीय महामार्ग पर एक तवेरा कार और ट्रक के बीच भीषण टक्कर में मौके पर ही 10 लोगों की जान चली गई. आज शुक्रवार 1 जून की सुबह 6.30 बजे यह दुर्घटना आर्णी तहसील के कोसदानी घाट में हुई. मृतकों में चार पुरुष, चार महिला और दो बच्चियां शामिल हैं. इस दुर्घटना में दो लोग बुरी तरह जख्मी भी हुए हैं. https://youtu.be/VhJjgB8LBn0 सभी मृतक पंजाब और दिल्ली के सिख परिवार के हैं. पूरा परिवार एक विवाह समारोह में नागपुर आया था. सभी नागपुर से ही तीन तवेरा कारों में दर्शन के लिए नांदेड़ जा रहे थे. यह दुर्घटना एक तवेरा कार के साथ हुई. सभी मृतकों और घायलों को यवतमाल के शासकीय अस्पताल भेज दिया गया है. उल्लेखनीय है कि दो दिन पूर्व ही इसी नागपुर- बोरी- तुलजापुर राष्ट्रीय महामार्ग पर एसटी की एक शिवशाही बस के दुर्घटनाग्रत हो जाने पर एक महिला यात्री सहित दो लोगों की मृत्यु हो गई थी और 18 यात्री घायल हुए थे. यह लग्जरी बस एक मोटरसाइकिल सवार को ओवरटेक करने में फिसल कर मार्ग पर ही पलट गई थी. इस दुर्घटना में दूसरा मृतक मोटरसाइकिल सवार था. तवेरा कार के मृतकों और घायलों के नाम, उनके परिजनों और उनके परिवार के अन्य लोगों के नाम का पता नहीं चल सका है. विस्तृत खबर की प्रतीक्षा है.

मेट्रो रेलवे के पीलर का वजनी ढांचा अंबाझरी मार्ग पर गिरा, प्राणहानि टली

पांच दिनों में दूसरा बड़ा हादसा, निर्माण स्थल पर सुरक्षा इंतजाम में कमी से चिंता विपेन्द्र कुमार सिंह नागपुर : मेट्रो रेलवे के निर्माण कार्य के दौरान आज गुरुवार को फिर निर्माणाधीन पीलर के लिए तैयार किए गए वजनी लोहे के छड़ों का ढांचा अचानक एलएडी कॉलेज चौक के पास अंबाझरी मार्ग के बैरिकेट्स पर गिर पड़ा. इस दौरान मार्ग पर चल रहे वाहनों को उनके चालकों ने ढांचा गिरता देख रोक लिया. इससे फिर एक बड़ा हादसा शहर में होते-होते टल गया. मेट्रो रेलवे की ओर से किया जा रहा सुरक्षा का दावा लगातार फेल होने से शहर में आम लोगों की चिंता बढ़ती जा रही है. मेट्रो के निर्माण स्थलों से सुरक्षित गुजरना अब चिंता की बात होती जा रही है. पिछले शनिवार को मेट्रो रेलवे के निर्माणाधीन जेपी स्टेशन के ऊपर से एक विशालकाय टावर क्रेन वर्धा रोड के पास गिर गया था. वहीं पर शनिवार का सब्जी बाजार लगा हुआ था. संयोग से उस समय तेज हवा के साथ बारिश हो रही थी, इस कारण लोग मार्ग पर नहीं थे. अन्यथा वाराणसी जैसी दुर्घटना की पुनरावृति निश्चित थी. क्रेन से दबकर चार वाहन क्षतिग्रस्त हो गए थे. प्राप्त जानकारी अनुसार यह हादसा दोपहर 12 बजे के आस-पास हुआ. इस हादसे के बाद मार्ग पर दो घंटे तक यातायात ठप रहा. इस दौरान वहां उपस्थित अधिकारी, कर्मचारी, ट्राफिक मार्शल, वॉर्डन और क्यूआरटी के दल ने क्रेन की सहायता से ढांचे के छड़ों को काटकर मार्ग से हटाया. महामेट्रो प्रशासन ने इस हादसे के लिए जिम्मेदार ठेकेदार राजेश्वर शर्मा और अभियंता देशराज दोनों को कार्यमुक्त कर दिया है. इसके साथ ही एफकॉन्स कंपनी पर एक रुपए का जुर्माना भी लगाया है.

वेकोलि में सेवानिवृत्त सुबीर कुमार चक्रवर्ती का सम्मान

नागपुर : वेस्टर्न कोलफील्ड्स लिमिटेड (वेकोलि) मुख्यालय में सेवानिवृत्त कर्मी सुबीर कुमार चक्रवर्ती का सम्मान समारोह 31 मई 2018 को आयोजित किया गया. इस अवसर पर, निदेशक (कार्मिक) डॉ. संजय कुमार मुख्य रूप से उपस्थित थे. उन्होंने सेवानिवृत्त कर्मचारियों को हार्दिक शुभकामनाएं दीं और उनके उज्ज्वल भविष्य की कामना की. वेकोलि के फोरमैन इंचार्ज सुबीर कुमार चक्रवर्ती, आज गुरुवार, 31 मई को सेवानिवृत्त हुए. कार्यक्रम का संचालन विभागाध्यक्ष (कल्याण) ए.के. सिंह ने किया. समारोह में वरिष्ठ अधिकारीगण एवं कर्मचारीगण उपस्थित थे.

निर्यात करने बजाय तुअर के आयात में जुटी सरकार

5,450 रुपए में किसानों से खरीदी किया गया है नया तुअर, रखने की जगह नहीं हैं - भारी स्टॉक निपटाने के लिए 35 रुपए में बेच रही तुअर - किसानों को हतोत्साह कर रही सरकार - देश में दलहनों की हो रही दुर्गति प्रताप ए. मोटवानी नागपुर : इस साल दलहनों की जिस तरह की दुर्गति हुई है, वैसी पिछले 8 वर्षों में नहीं हुई. दो वर्ष पूर्व 200 रुपए किलो बिकने वाली तुअर दाल की हालत ऐसी हो गई है कि सरकार ने 55 रुपए की दर पर बिकने वाली दाल 35 रुपए किलो राशन दुकानों में बेचने का निर्णय लिया है. सरकार द्वारा 20 रुपए किलो घटाने का प्रमुख कारण यह है कि खुले बाजारों में तुअर दाल होलसेल मार्केट में 50 से 60 रुपए होने पर भी सरकारी दाल नहीं बिक रही थी. दूसरा कारण सरकार द्वारा गत वर्ष 5,050 एमएसपी में खरीदी तुअर भारी मात्रा में जमा है. इस वर्ष नया माल 5,450 में किसानों से खरीदी किया गया है. स्टॉक करने के लिए गोदामों का अभाव और पुराने माल की बिक्री करने से जगह रिक्त होने के साथ भारी स्टॉक से मुक्ति पाना भी था. 35 रुपए किलो दाल राशन में बिक्री से आम जनता को राहत तो मिलेगी. लेकिन दूसरी तरफ यह चिंता का विषय है कि इससे खुले बाजारों में दाल की बिक्री में असर होंगा, भाव घटेंगे, जिससे किसानों और व्यापारियों पर बुरा असर होगा. 5450 एमएसपी की तुअर, अभी से खुले बाजारों में 4,000-4,200 की हो गई है. आयायित तुअर 3800 का मुम्बई में रेट है. सरकार ने 3 लाख टन आयात की अनुमति दी है. सभी परिस्थितियां किसानों और व्यापारियों के दृष्टिकोण से चिंतनीय है. महाराष्ट्र सरकार ने सार्वजनिक वितरण प्रणाली के माध्यम से बेची गई दाल की कीमत घटाकर 35 रुपए प्रति किलो कर दी है, इसके पहले यह 55 रुपए प्रति किलो थी. इससे जनता को लाभ तो मिलेगा. पर किसान का इसमें नुकसान होगा. स्थिति ऐसी है सरकार के सामने भाव घटाने के अलावा कोई विकल्प नहीं था. इस साल सरकार ने किसानों को उनकी फसल के दाम सही मिले एमएसपी तक भाव आए, लेकिन सभी प्रयास विफल ही गए.तुअर के साथ सभी दालों मैं बुरी तरह हालात बदतर है. चना 3,500 बिक रहा है. मूंग, उरद, मसूर सभी दालों के भाव अल्पस्तर पर है. किसानों ने गत 2 वर्षों से एमएसपी की दर देख रिकॉर्ड दलहनों की पैदावार की. 170 लाख टन से दो वर्षों से दलहन 220-230 लाख टन उत्पादन हो रहा है. मांग और पूर्ति समांतर हो गई है. आयात की स्तिथि समाप्त हो गई है. दालें निर्यात करने की स्थिति में आ गई हैं. दलहनों की दुर्गति देख किसान शायद ही अगली बार दलहन उत्पादन में दिलचस्पी ले. सरकार ने उपरोक्त समस्या को गंभीरता नहीं लिया तो आने वाले वर्षों में स्थिति फिर भयावह हो जाएगी. -प्रताप ए. मोटवानी, सचिव The Wholesale Grain and Seeds Merchant Association नागपुर

हाशिए पर आ खड़ी हो गई भाजपा

लोकसभा में 282 से घटकर बहुमत के आंकड़े से मात्र एक अधिक 273 पर आ गई विश्लेषण : कल्याण कुमार सिन्हा केंद्र में सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी को लोकसभा के पिछले चार सीटों के उपचुनाव ने हाशिए पर ला खड़ा कर दिया है. 2014 के लोकसभा चुनाव में बहुमत के जादूई आंकड़े 272 से 10 अधिक 282 सीटें जीत कर सहयोगी दलों के साथ सत्ता में आई थी. लेकिन पिछले चार वर्षों में लोकसभा में भाजपा का संख्या बल फिसलते-फिसलते 273 पर आ गई है. अर्थात अब बहुमत के लिए जरूरी आंकड़े से मात्र एक अधिक सदस्य ही भाजपा के पास है और अभी 2019 के लोकसभा चुनाव होने में लगभग दस माह हैं. चार वर्षों में लोकसभा के 13 सीटों के लिए उपचुनाव में से 8 सीटों पर हारी पिछले चार वर्षों में लोकसभा के 13 सीटों के लिए उपचुनाव हुए हैं. इनमें से 8 सीटों पर भाजपा की हार हुई है. चार लोकसभा उपचुनावों के आज के परिणाम भाजपा के लिए फिर से बड़ी चिंता की लकीर खींच दी है. इन चुनावों को 2019 का सेमीफाइनल माना जा रहा है. इनके परिणामों से 2019 में देश के मतदाताओं के मूड का अंदाजा लगाया जा रहा है और यह अंदाजा भाजपा के लिए दुबारा सत्ता पाने का मार्ग बहुत कठिन होने का आभास दिला रहा है. इन चार लोकसभा सीटों के उपचुनाव में उत्तरप्रदेश की कैराना सीट भाजपा के लिए लिटमस टेस्ट जैसा था. लेकिन भाजपा ने इसे गवां दिया है. वहां मतदाता राष्ट्रीय लोकदल के पीछे एकजुट हो गए और फूलपुर तथा गोरखपुर की पुनरावृति कर डाली. नाना पटोले के इस्तीफे को जायज ठहरा दिया भंडारा-गोंदिया की जनता ने महाराष्ट्र की पालघर सीट तो भाजपा बचाने में सफल हुई, लेकिन भंडारा-गोंदिया सीट गवां बैठी. यह सीट 2014 के चुनाव में एनसीपी के हैवीवेट उम्मीदवार पूर्व केंद्रीय मंत्री प्रफुल्ल पटक को भारी मतों से पराजित कर भाजपा ने छीनी थी. लेकिन पिछले दिसंबर में ही यहां के भाजपा सांसद नाना पटोले ने केंद्र और राज्य दोनों भाजपा सरकारों पर क्षेत्र की उपेक्षा का आरोप लगाते हुए पार्टी और लोकसभा की सदस्यता से इस्तीफा दे दिया था. क्षेत्र की जनता ने भाजपा को शिकस्त देकर नाना पटोले के इस्तीफे को जायज ठहरा दिया है. इसी तरह मध्यप्रदेश के रतलाम लोकसभा उपचुनाव में अपनी यह सीट बचा नहीं पाई. यह सीट भाजपा सांसद दिलीप सिंह भूरिया के निधन से खाली हुई थी. इसके साथ ही पंजाब के गुरुदासपुर की अपनी लोकसभा सीट भी भाजपा के हाथ से निकल गई. यह सीट भाजपा सांसद विनोद खन्ना के निधन से खाली हुई थी. राजस्थान की अजमेर और अलवर सीट भी भाजपा के हाथों से पिछले उपचुनाव में फिसल गई. लोकसभा उपचुनावों के इन परिणामों ने भाजपा को हाशिए पर ला खड़ा कर दिया है. अब 2019 के लोकसभा चुनाव तक भाजपा इस डैमेज को कैसे कंट्रोल करती है, यह तो आने वाले दस महीने ही बताएंगे. विपक्ष को मिला भाजपा को सत्ता से हटाने का फार्मूला यह कहना संभवतः दिवास्वप्न की बात हो सकती है कि लोकसभा की चार सीटों और विधानसभा की 10 सीटों के लिए हुए ताजा उपचुनावों के...

भंडारा-गोंदिया लोस क्षेत्र से एनसीपी के कुकड़े ने भाजपा को 40 हजार से अधिक...

सत्तारूढ़ भाजपा और फड़णवीस-गड़करी के प्रचार में भीड़ तो उमड़ी, पर वोट देने से कतराए अधिकांश मतदाता भंडारा : भंडारा-गोंदिया लोकसभा क्षेत्र का उपचुनाव भाजपा हार गई है, एनसीपी के कमजोर समझे जाने वाले मधुकर कुकड़े ने भाजपा के हेमंत पटले को 40 हजार से अधिक मतों से पराजित कर पूर्व सांसद नाना पटोले के इस्तीफे को सार्थक कर दिया है. भाजपा के सांसद रहे नाना पटोले ने पिछाले वर्ष दिसंबर में भाजपा और लोकसभा की सदस्य्ता से इस्तीफा दे दिया था. उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री फड़णवीस पर अपने संसदीय क्षेत्र की उपेक्षा का आरोप लगाते हुए इस्तीफा दिया था. भंडारा में हुई मतगणना के विस्तृत परिणाम अभी मिलने बाकी हैं. लेकिन अंतिम चरण की मतगणना के बाद एनसीपी उम्मीदवार मधुकर कुकड़े के विजयी होने की खबर मिलते ही एनसीपी-कांग्रेस खेमें में हर्ष फूट पड़ा. वैसे आज सुबह से ही पहले राउंड की मतगणना से ही कुकड़े भाजपा के पटले पर लगातार बढ़त बनाते चले गए. जीत के बाद एनसीपी और कांग्रेस ने मधुकर कुकड़े के साथ भंडारा में विजय जुलूस निकाला.

यवतमाल से नागपुर जा रही शिवशाही बस पलटी, दो मृत, 18 घायल

नागपुर-तुलजापुर मार्ग पर बाइक को ओवरटेक करने में दुर्घटना यवतमाल : नागपुर-तुलजापुर राज्य महामार्ग पर एसटी की शिवशाही एसी लग्जरी बस की दुर्घटना में एक महिला यात्री सहित एक बाइक सवार की जान चली गई और 18 अन्य घायल हो गए. यवतमाल से नागपुर जा रही यह शिवशाही बस नागपुर-तुलजापुर राज्य महामार्ग पर बेलोना गांव के निकट दुर्घटनाग्रस्त हो गई. दोनों मृतकों के साथ सभी घायल 18 यात्रियों को उपचार के लिए यवतमाल के शासकीय अस्पताल में दाखिल कराया गया, जहां उनका उपचार चल रहा है. मृतकों के शव पोस्टमार्टम कराने के बाद उनके परिजनों को सौंप दिए गए. यह दुर्घटना एक बाइक सवार को शिवशाही बस द्वारा ओवरटेक करने के दौरान हुई. बस चालक का नियंत्रण ओवरटेक करते समय छूट गया. इस कारण तेज गति की बस रास्ते पर फिसल कर पलट गई. इससे मोटर साइकिल सवार के साथ एक महिला यात्री की जान चली गई और 18 लोग जख्मी हो गए. पुलिस ने शिवशाही बस चालक के विरुद्ध मामला दर्ज कर उसे गिरफ्तार कर लिया है.