कोल इंडिया देश की ऊर्जा की मांग पूरी करने सक्षम

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अधिक कोयला ब्लॉक कोल इंडिया को आवंटित किया जाएगा : कोयला मंत्री

नागपुर : कोल इंडिया लिमिटेड (सीआईएल) की कोयला उत्पादन महारत्न कोयला खनन कंपनियों ने उत्पादन बढ़ाने में उल्लेखनीय सफलता हासिल की है. भारत सरकार द्वारा 16 नए कोयला ब्लॉकों के आवंटन करने के बाद कोयला उत्पादन में उल्लेखनीय बढ़ावा मिला है. इस कदम से कोल इंडिया के कोयला खनन  क्षमता में काफी वृद्धि हुई है.

सीआईएल का दावा है कि कोयला उत्पादन की वर्तमान दर आगामी वर्षों में अनुमानित वृद्धि दर कोयला खनन की वर्तमान क्षमता का विस्तार होगा. साथ ही अगले 25 से 30 साल के लिए कोयले की कम से कम देश की मांग को पूरा करने के लिए पर्याप्त होगा.

कोयला मंत्री प्रहलाद जोशी ने विश्वास व्यक्त किया है कि 2030 में भी देश की विद्युत उत्पादन से देश की ऊर्जा परिदृश्य में सीआईएल की पूरक कंपनियां उल्लेखनीय भूमिका निभाएंगी. वे हाल ही में कोयला उत्पादन प्रदर्शन की समीक्षा बैठक में बोल तहे थे.

2040 में भी ऊर्जा मिश्रण में कोयला की हिस्सेदारी कम से कम 44% होगी
देश में कोयले की बहुतायत, उपलब्धता और सामर्थ्य के बावजूद आशंका व्यक्त की जाती है कि नवीनीकरण ऊर्जा संसाधनों के विकास के साथ ही सीआईएल की भूमिका जल्द ही समाप्त हो जाएगी. इस आशंका का शमन करते हुए एक कंपनी के अधिकारी ने बताया, “नीति आयोग ने इस अनुमान की पुष्टि की है कि 2040 में भी ऊर्जा मिश्रण में कोयला की हिस्सेदारी कम से कम 44% होगी.” उन्होंने कहा, “देश की 82 प्रतिशत ऊर्जा उत्पादन के लिए कोयले का उत्पादन संभव है. इस प्रकार कोयला उत्पादन में कोल इंडिया भविष्य में देश की ऊर्जा निर्भरता को सुनिश्चित करने में एक बड़ी भूमिका निभाने के लिए तैयार है.

अधिक कोयला ब्लॉक आवंटित किया जाएगा : कोयला मंत्री
कोयला मंत्री जोशी ने आश्वस्त किया है कि अगर जरूरत पड़ी तो अधिक कोयला ब्लॉक कोल इंडिया को आवंटित किया जाएगा. कोल इंडिया जहां तक संभव हो कोयला में देश को आत्मनिर्भर बनाने के लिए कोयला बढ़ाकर आयात निर्भरता को कम करने के लिए योजना बना रही है. वित्तीय वर्ष 2024 में देश की 1 बीलियन टन उत्पादन लक्ष्य को पूरा करने में  कंपनी अभी से ही कमर कस रही है.

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