नेपोटिज्म

सुशांत : नेपोटिज्म का विकल्प आत्महत्या तो नहीं हो सकता..!

सिनेमा
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आखिरी फिल्म ‘दिल बेचारा’ रिलीज होगा 24 जुलाई को

#जीवंत के.शरण-
नेपोटिज्म,
इसे सरल करें तो भाई-भतीजावाद अधिसंख्य न सिर्फ समझते हैं, बल्कि अवसर मिलने पर करते भी हैं और वो भी डंके की चोट पर. हताशा के बाद आत्महत्या शायद आसान विकल्प होता है…! और अक्सर ऐसी खबरें आती ही हैं, लेकिन जब कोई नामचीन आत्महत्या कर लेता है, बात दूर तलक जाती है.

मायानगरी में कम समय में बतौर हीरो पहचान बनाने वाले सुशांत सिंह राजपूत युवा, प्रतिभावान, हंसमुख और सरल स्वभाव अर्थात सर्वगुण सम्पन्न कलाकार थे. उन्होंने सब कुछ अपने बलबूते हासिल किया. हरफन में स्वंय को पारंगत करने की उनकी ललक का नतीजा था कि छोटे पर्दे पर (पवित्र रिश्ता) शोहरत हासिल करने के बाद बिना किसी पैरवी के बड़े पर्दे पर भी उन्होंने अपने लिए एक मुक्कमल जगह बना लिया.

सुशांत की मुस्कान, मासूमियत और दरियादिल के सभी कायल थे. बावजूद इसके अल्पायु  (34) में ही प्लान करके हमेशा के लिए ‘शांत’ होने का निर्णय लेना कितना कठिन होगा, अब इस पर लोग चर्चा करते रहें, अपनी भड़ास निकालते रहें, सुशांत के पिता भी पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद अब आत्महत्या को स्वीकार चुके हैं. कुछ अंतराल के बाद सब कुछ सामान्य हो जाएगा. कोरोना वायरस का कहर भी कम हो जाएगा. छोटे-बड़े पर्दे की गतिविधियां पहले की तरह निर्बाध शुरू हो जाएंगी. हां, कायनात शायद यूं ही चलता है.
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नेपोटिज्म : बहस हो, लेकिन सार्थक
सुशांत के जाने के बाद नेपोटिज्म पर जबरदस्त कोहराम मचा हुआ है. इस पर बहस होनी भी चाहिए. करण जौहर, सलमान खान, महेश भट्ट और आदित्य चोपड़ा जैसे दबंग कलाकार/फिल्मकार पर खूब प्रहार हो रहे हैं. इन सभी पर भाई-भतीजावाद का आरोप है. इन पर शुशांत को दरकिनार करने और नीचा दिखाने का भी आरोप लग रहा है. इस पर बहस तो हो, लेकिन बहस सापेक्ष और सार्थक होनी चाहिए.

षडयंत्रकारियों को सजा मिलनी ही चाहिए…
नेपोटिज्म तो हर क्षेत्र में है. जो बड़े पद और पहुंच वाला व्यक्ति है, जाहिर है पहले वो अपनों को ही आगे बढ़ाने का प्रयास करेगा. जहां तक बाॅलीवुड का सवाल है तो यहां बड़े बैनर के तहत आरंभ से ही पहले अपने बच्चों को रंगीनियत दी जाती रही है. हां, अपवाद स्वरूप  इंडस्ट्री के बाहर के भी कलाकारों को अवसर मिला है. एक पिता का अपने बच्चों को आगे बढ़ाने के बारे में सोचना कैसे गलत हो सकता है? हां, यह गलत तब होगा, जब इस मोह-माया में पड़ कर बाहर से आई प्रतिभा का शोषण और उसके खिलाफ षडयंत्र रचा जाने लगता है. और सुशांत के मामले में कुछ षडयंत्र तो हुआ ही है. पुलिस तहकीकात कर रही है. यदि वास्तव में ऐसा हुआ है, तो षडयंत्रकारियों को इसकी सजा मिलनी ही चाहिए.

लेकिन एक बात और, विचारणीय है- किसी प्रतिभा के शोषण और उसके खिलाफ षडयंत्र या नेपोटिज्म का विकल्प क्या आत्महत्या हो सकता है..? बॉलीवुड में नेपोटिज्म के कोई पहले शिकार नहीं थे सुशांत. नेपोटिज्म के वाबजूद इतने कम समय में उन्होंने तो बॉलीवुड में अपनी प्रतिभा के बल पर वह मुकाम हासिल कर लिया था, जो विरले को ही नसीब हुआ है.

कम समय में ही सुशांत के चहेतों की बड़ी फौज भी तैयार हो गई थी. यही कारण है कि देश भर में उनके आत्महत्या के बाद एक तूफान-सा उठ खड़ा हुआ है. सिने जगत के दिग्गजों की प्रतिक्रियाएं बहुत कम सामने आई हैं, बल्कि विरोध के कारण वे अपनी संवेदनाओं को भी खुलकर व्यक्त नहीं कर पा रहे हैं. दूसरी तरफ इंडस्ट्री के कुछ लोगों को अपने मन की भड़ास निकालने का अवसर मिल गया है.

बहरहाल, सौ साल का विराट अनुभव लेकर तैयार फिल्म इंडस्ट्री के विशाल ह्रदय की चर्चा इसलिए भी होती है कि यहां जाति और धर्म को बहुत तरजीह नहीं दी जाती. आप में टैलेंट है और अवसर मिल गया तो आप बहुत आगे जा सकते हैं. सुशांत सिंह राजपूत सही रास्ते पर चल रहे थे, लेकिन 14 जून को सब कुछ पल भर में बिखर गया.
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दिल बेचारा
फिल्म काय पो छे, शुद्ध देसी रोमांस, पीके, एमएस धोनी: अनटोल्ड स्टोरी, केदारनाथ और छिछोरे के बाद सुशांत की अंतिम तैयार फिल्म ‘दिल बेचारा’ 24 जुलाई को डिज्नी प्लस हाॅटस्टार पर रिलीज होगी. इस फिल्म के प्रमोशन के लिए आगे आए हैं, राजकुमार राव, श्रद्धा कपूर, कार्तिक आर्यन और भूमि पेडनेकर.


उनकी आखिरी फिल्म ‘दिल बेचारा’ का हाल ही में ऑनलाइन पोस्टर रिलीज किया गया. उसके बाद से हर कोई आम से लेकर खास आदमी तक इस चहेते अभिनेता को अपने अंदाज में श्रद्धांजलि दे रहा है. एक तरफ जहां सुशांत की फिल्म ‘दिल बेचारा’ के इस पोस्टर को फैंस अपने नजरों से ओझल नहीं होने दे रहे हैं, तो वहीं दूसरी तरफ से बॉलीवुड सितारे भी अपने चहेते स्टार के फिल्म के पोस्टर को सोशल नेटवर्किंग साइट पर शेयर कर श्रद्धांजलि दे रहे हैं.  

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श्रद्धा कपूर, राजकुमार राव और कार्तिक आर्यन दिल बेचारा को प्रमोट करने में जुटे. 

फिल्म ‘दिल बेचारा’ साल 2014 की हॉलीवुड रोमांटिक ड्रामा फिल्म ‘द फॉल्ट इन आवर स्टार्स’ की ऑफिशियल हिंदी रीमेक है. निश्चय यह फिल्म 2020 की सबसे चर्चित फिल्मों में एक होगी. इस फिल्म को डायरेक्ट किया है मुकेश छाबड़ा ने. इनकी यह पहली डायरेक्टोरियल डेब्यू है. इस फिल्म में सुशांत के अपोजित नवोदित अदाकारा संजना संघी भी हैं. यह फिल्म डिज्नी प्लस हाॅटस्टार पर 24 जुलाई को देश भर में रिलीज की जाएगी. सबसे खास बात यह है कि इस फिल्म को नॉन सब्सक्राइबर व्यूअर्स भी देख पाएंगे, ताकि यह फिल्म सुशांत के हर चाहने वालों के दिल तक पहुंच सके.  

सुशांत के यूं अलविदा कह जाने की वजह से उनके द्वारा साइन किए गए प्रोजेक्ट्स अधूरे रह गए हैं. ऐसा ही एक प्रोजेक्ट है ‘वंदे भारतम’. सुशांत को लीड रोल में लेकर ये फिल्म उनके खास दोस्त और फिल्ममेकर संदीप सिंह बनाने वाले थे.

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अपने मित्र संदीप सिंह के साथ.

सुशांत की याद में एक दोस्त का इमोशनल पोस्ट-
अपने दोस्त सुशांत को खोने से संदीप सिंह बेहद दुखी हैं. वे इंस्टा पर सुशांत की याद में पोस्ट लिखते रहते हैं. अब संदीप ने सुशांत की फिल्म ‘वंदे भारतम’ का फर्स्ट लुक पोस्टर शेयर किया है. उन्होंने कैप्शन में लिखा- “तुमने मुझसे वादा किया था. हम दोनों बिहारी भाई एक दिन इंडस्ट्री पर राज करेंगे और सभी नौजवानों के लिए इंस्पिरेशन और सपोर्ट सिस्टम बनेंगे. तुमने मुझसे वादा किया था कि बतौर डायरेक्टर मेरी पहली फिल्म में तुम काम करोगे. राज शांडिल्य ने इस फिल्म की कहानी लिखी और हम साथ में इसे प्रोड्यूस करने वाले थे. मुझे तुम्हारा विश्वास चाहिए, वो भरोसा जो तुमने मुझपर दिखाया था, वो मेरी ताकत था. अब तुम चले गए. मैं कहीं गुम हो गया हूं. अब मुझे बताओ कि मैं इस सपने को कैसे पूरा करूं? तुमने जैसे मेरा हाथ पकड़ रखा था, वैसे कौन पकड़ेगा? अब मुझे SSR की तरह ताकत कौन देगा, मेरे भाई?”  
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आने वाली एक और फिल्म “वन्दे भारतम” का जारी किया गया पोस्टर. 

संदीप सिंह ने लिखा- “मैं तुमसे वादा करता हूं, मैं ये फिल्म बनाऊंगा. ये फिल्म तुम्हें श्रद्धांजलि होगी. फिल्म वंदे भारतम पर बात करते हुए जो हम घंटों बैठकर बातचीत किया करते थे, अब मेरे पास बस तुम्हारी यादें बची हैं और ये पोस्टर, जो हमारा सपना था और पूरा होने जा रहा था.”

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