समय और चरण तय करने की प्रक्रिया शुरू, चार राज्यों के विस चुनाव भी साथ में संभव
नई दिल्ली : लोकसभा चुनाव कार्यक्रम की घोषणा चुनाव आयोग आगामी मार्च के पहले सप्ताह में कर सकता है. सूत्रों ने आज शुक्रवार को यह संकेत देते हुए बताया कि लोकसभा चुनाव के साथ कुछ राज्यों के विधानसभा चुनाव भी कराने की संभावना है.
3 जून को समाप्त हो रहा कार्यकाल
उल्लेखनीय है कि वर्तमान लोकसभा का कार्यकाल आगामी 3 जून को समाप्त हो रहा है. इसे ध्यान में रख आयोग ने चुनाव किस महीने में और कितने चरण में कराए जाने हैं, यह तय करने की प्रक्रिया शुरु कर दी है.
आयोग ने 2004 में लोकसभा चुनाव कार्यक्रम की 29 फरवरी को चार चरण में, 2009 में 2 मार्च को पांच चरण में और 2014 में 5 मार्च को नौ चरण में कराने की घोषणा की थी. पिछले तीनों लोकसभा चुनाव अप्रैल से मई के दूसरे सप्ताह में संपन्न करा लिए गए थे.
चार राज्यों के विस चुनाव भी साथ में होना संभव
सूत्रों के अनुसार आम चुनाव का समय और चरण तय करने की प्रक्रिया शुरू हो गई है. सूत्रों ने इस बात से भी इंकार नहीं किया कि लोकसभा चुनाव के साथ ही आंध्र प्रदेश, सिक्किम, अरुणाचल प्रदेश और ओडिशा में लोकसभा चुनाव के साथ-साथ विधानसभा चुनाव भी संपन्न कराए जा सकते हैं.
सिक्किम विधानसभा का कार्यकाल आगामी मई तथा आंध्र प्रदेश, ओडिशा और अरुणाचल प्रदेश विधानसभा का कार्यकाल आगामी जून में पूरा हो रहा है. चुनाव के चरण सुरक्षा बलों की उपलब्धता और अन्य जरूरतों पर निर्भर करता है.
जम्मू-कश्मीर विधानसभा चुनाव सुरक्षा इंतजामों पर निर्भर
इस बीच जम्मू-कश्मीर विधानसभा भी पिछले साल नवंबर में भंग किए जाने के कारण नई विधानसभा के गठन की छह महीने की निर्धारित अवधि इस साल मई में पूरी होने से पहले चुनाव आयोग के लिए राज्य में चुनाव कराना जरूरी है. जम्मू-कश्मीर में चुनाव कराने का फैसला हालांकि राज्य में सुरक्षा इंतजामों की पुष्टि पर ही निर्भर है.
जम्मू-कश्मीर विधानसभा का छह साल का निर्धारित कार्यकाल 16 मार्च 2021 तक था, लेकिन बहुमत वाली सरकार के गठन की संभावनाएं समाप्त होने के आधार पर इसे नवंबर 2018 में ही भंग कर दिया गया.